Shri Krishna | हिंदू धर्म में कलयुग आखिरी युग कहलाता है और इस युग को लेकर कहा गया है कि सभी युगों के तुलना में कलयुग में पाप कर्म ज्यादा होगा लोगों में द्वेष की भावना बहुत ज्यादा होगी तो ऐसे में द्वापर युग में ही भगवान श्रीकृष्ण ने कलयुग को लेकर भविष्यवाणी किया था जो वर्तमान में सच भी हो रहा है. कहा जाता है की जब पांडव महाभारत काल में जुए में अपना सब कुछ हर गए थे तब धर्मराज युधिष्ठिर ने भगवान श्रीकृष्ण से पूछा कि हे नारायण ! द्वापरयुग की समाप्ति हो रही हैं और कलयुग का आगमन होने वाला है तो ऐसे में कलयुग में क्या क्या घटेगा ? कृपा करके हम पांच भाइयों को बताएं तब भगवान श्रीकृष्ण ने कहा कि तुम सभी भाई वन में जाओ और जो भी तुम सबको दिखाई दे उसके बारे में मुझसे कहो.
भगवान श्रीकृष्ण ने पांडवों को क्या भविष्यवाणी बताया जो कलयुग में सत्य साबित हुआ :
1) धर्मराज युधिष्ठिर जब वन से वापस लौट आए तब उन्होंने भगवान श्रीकृष्ण को बताया कि – हे नारायण ! जंगल में दो सूंड वाले हाथी को देखा इस पर भगवान श्रीकृष्ण ने बताया कि कलयुग में ऐसे लोगों का राज होगा, जो बोलेंगे कुछ और करेंगे कुछ. कलयुग में राज करने वाला मनुष्य लोगों का दोनों तरफ से शोषण करेगा. भगवान श्रीकृष्ण का द्वापर युग में किया हुआ यह भविष्यवाणी आज वर्तमान में सच साबित हो रही हैं.
2) भीम जब वन से लौट कर वापस आए तो उन्होंने भगवान श्रीकृष्ण को बताया कि जंगल में एक गाय अपने बछड़े को चाट रही थी जिसके कारण से वह लहूलुहान हो रहा था. भगवान श्रीकृष्ण ने भीम की इस बात का अर्थ समझाते हुए कहा कि कलयुग में माँ की ममता के कारण से बच्चों का उचित विकास नहीं हो पायेगा और बच्चे का विकास रुक जाएगा और दूसरी बात माताएं पुत्र के संत बनने पर उनका दर्शन करेगी किंतु अपने स्वयं पुत्र को साधु – सन्यासी बनने नहीं देगी.
3) अर्जुन ने वन से वापस लौट कर आएं तब उन्होंने बताया कि एक पक्षी दिखाई दिया जिसके पंखों पर वेदों की ऋचाएं लिखा हुआ था किंतु वह मरे हुए जानवरों के मांस को खा रहा था. अर्जुन के इस बात को सुनकर भगवान श्रीकृष्ण ने कहा कि कलयुग में हर व्यक्ति अपने आप को ज्ञानी मानेगा परंतु उसकी प्रवृत्ति राक्षसों के समान होगा.
4) सहदेव जब वन से वापस लौट कर आएं तो उन्होंने भगवान श्रीकृष्ण को बताया कि मैंने वन में सात भरे कुओं के मध्य एक खाली कुंआ को देखा. भगवान श्रीकृष्ण ने इसका मतलब बताते हुए कहा कि कलयुग में भूखे मरते हुए मनुष्य की कोई मदद नहीं करेगा अपने आसपास भूख से मरता हुआ मनुष्य सबको दिखाई तो देगा परंतु उसे लोग अनदेखा कर दिया करेगा.
5) नकुल वन से वापस लौटकर भगवान श्रीकृष्ण को बताया कि एक बड़ी सी चट्टान बड़े से बड़े वृक्ष और चट्टानों से टकराने के बाद भी नहीं रुक रहा था किंतु एक छोटे से पौधे के टकराने से वह रुक गई. नकुल की इस बात को सुनने के पश्चात भगवान श्रीकृष्ण ने कहा कि केवल हरिनाम से ही कलयुग में मानव समाज का पतन रुक पाएगा.
उम्मीद है कि आपको यह लेख पसंद आया होगा तो इसे अधिक से अधिक अपने परिजनों और दोस्तों के भी शेयर करें और ऐसे ही धर्म से जुड़े लेख को पढ़ने के लिए जुड़े रहे madhuramhindi.com के साथ.
FAQ – सामान्य प्रश्न
1) भगवान श्रीकृष्ण ने किस युग में कलयुग की भविष्यवाणी किया था ?
द्वापर युग में.
अस्वीकरण (Disclaimer) : यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. यहां यह बताना ज़रूरी है कि madhuramhindi.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता हैं.